Storage Device क्या है | Storage Device के प्रकार

स्टोरेज डिवाइस के बारे में मैं आपको इस आर्टिकल में बताने वाला हूँ स्टोरेज डिवाइस के बारे में जैसे की स्टोरेज डिवाइस क्या हैस्टोरेज डिवाइस के प्रकार और उपयोग  आज के समय में आपको स्टोरेज डिवाइस के बारे में जानना बहुत ही जरूरी है ताकि आपके जीवन में कुछ नये खरीदने को और आजमाने को मिल सके  हालांकि स्टोरेज डिवाइस का उपयोग तो काफी अधिक मात्रा में किया ही जाता है 
 

What is Storage Device in hindi स्टोरेज डिवाइस क्या है :

ऐसा डिवाइस जिसमें या जिसके अंदर कुछ जमा करने का फीचर्स होता है या जिसमें डाटा या फाइल्स को हमेशा के लिए सेव करके रख सकें, उस डिवाइस को कहते हैं स्टोरेज डिवाइस डिवाइस । आज के समय में जरूरी डाटा और फाइल्स को रखने के लिए स्टोरेज डिवाइस का ही प्रयोग किया जाता है  लेकिन मैं डिजिटल डाटा के बारे में बात कर रहा हूँ  जिसे आप सिर्फ देख सकते हैं लेकिन टच नहीं कर सकते  जैसे की कैमरे की मदद सी ली गयी विडियो, फोटो और कंप्यूटर, मोबाइल, स्मार्टफ़ोन, टेबलेट्स का डाटा इत्यादि  ये सभी एक स्टोरेज डिवाइस में स्टोर करते हैं और उन स्टोरेज डिवाइस का नाम हैं हार्ड डिस्क ड्राइव, सॉलिड स्टेट ड्राइव, ROM और सॉलिड स्टेट हाईब्रिड ड्राइव  ये तीनों एक डिजिटल स्टोरेज डिवाइस हैं जिसका इस्तेमाल कंप्यूटर स्मार्टफ़ोन, टेबलेट्स, लैपटॉप और कुछ स्पेशल मशीनों में किया जाता है  ताकि डाटा को सेव करके रखा जा सके और काम हो सके 
 
Storage Device kya hai
Storage Device kya hai

What is Internal Storage Device | इंटरनल  स्टोरेज डिवाइस क्या है :

इंटरनल स्टोरेज वे डिवाइस होते हैं जिसे डिवाइस के अंदर ही लगाया जाता है और इसे बाहर से ही कनेक्ट करके डाटा को जमा करने का या ट्रान्सफर करने का फीचर नहीं मिलता है. HDD, SSD और SSHD ये सभी ऐसे स्टोरेज डिवाइस हैं जिसे कंप्यूटर, लैपटॉप जैसे बड़े डिवाइस का अंदर ही लगाया जाता है और डाटा को सेव और ट्रान्सफर किया जा सकता है । वैसे हमने इन सभी स्टोरेज डिवाइस के बारे में विस्तार के साथ नीचे बताया है ताकि आपको सभी के बारे में जानकारी प्राप्त सके 

What is External Storage Device | एक्सटर्नल स्टोरेज डिवाइस क्या है :

जैसे हम पेनड्राइव और मैमोरी कार्ड का इस्तेमाल करते हैं ठीक वैसे ही इसका भी इस्तेमाल बिल्कुल इसी तरह ही किया जाता है । इसमें usb पोर्ट और टाइप-c पोर्ट देखने को मिलते हैं । जिससे आप कंप्यूटर, लैपटॉप और स्मार्टफोन के साथ usb डेटा केबल की मदद से कनेक्ट कर सकते हैं । इसे कहीं भी लेकर जा सकते हैं जब आपको डेटा स्टोर करना हो या फिर डेटा लेना हो । जब की इंटरनल स्टोरेज डिवाइस में usb और टाइप-c पोर्ट नहीं होते । एक्सटर्नल स्टोरेज डिवाइस का ज्यादातर उपयोग डेटा बैकअप के लिए और जब कंप्यूटर या लैपटॉप की मेमोरी फुल हो जाती है तब भी इस्तेमाल किया जाता है । इसका इस्तेमाल पर्सनल और जरूरी डेटा को लंबे समय तक सेफ रखने के लिए भी किया जाता है । एक्सटर्नल स्टोरेज डिवाइस ये हैं जैसे की SD कार्ड, पोर्टेबल HDD, पोर्टेबल, SSD, पोर्टेबल SSHD, CD, DVD 

Types of storage device in hindi | स्टोरेज डिवाइस के प्रकार :

स्टोरेज डिवाइस के प्रकार तो वैसे 9 हैं जिसे हमने अलग-अलग तरीके से विभाजित किया है । जिससे इसके प्रकार अधिक हो गये । लेकिन स्टोरेज डिवाइस के प्रकार के प्रकार चार ही है :

  • HDD
    • पोर्टेबल HDD
  • SSHD
    • पोर्टेबल SSHD
  • SSD
    • पोर्टेबल SSD
  • ROM
  • CD
  • DVD
  • SD कार्ड
इन सभी स्टोरेज डिवाइस के बारे में हमने बताया है विस्तार के साथ जोकि इस प्रकार है :

1. HDD :

हार्ड डिस्क ड्राइव को शोर्ट में HDD ही कहते हैं ताकि कहने में आसान हो  इस हार्ड डिस्क ड्राइव का उपयोग आज के समय में सबसे अधिक किया जाता है  इसका सबसे बड़ा कारण हैं कम कीमत का होना  जिसकी वजह से अत्यधिक उपयोग में लिया जाता है हार्ड डिस्क ड्राइव को  आप इतना इतना रखें की इस हार्ड डिस्क ड्राइव को स्मार्टफ़ोन जैसे पतले डिवाइस में नहीं लगाया जाता है क्योंकि इसका आकार काफी बड़ा होता है इसीलिए  आकार में बड़े होने से इसका उपयोग मशीन में जैसे की कंप्यूटर, लैपटॉप जैसे बड़े डिवाइस में डाटा को लम्बे समय तक सेव करके रखने के लिए किया जाता है  परन्तु अगर इसकी तुलना SSHD या SSD से करनी है तो इसकी डाटा ट्रान्सफर करने की स्पीड, डाटा को लोड यानि की खोलने की स्पीड, डाटा को write करने की स्पीड और डाटा रीड करने की स्पीड काफी कम है इसीलिए साधारण काम के लिए इसका इस्तेमाल अधिक किया जाता है लेकिन बाकि के हैवी काम के लिए ये स्टोरेज डिवाइस काम करने में समय अधिक लेते हैं 

  • पोर्टेबल HDD :

पोर्टेबल हार्ड डिस्क ड्राइव भी हार्ड डिस्क ड्राइव की तरह ही होती है जबकि दोनों में अंतर तो सिर्फ पोर्टेबल का होता है  जैसे की पोर्टेबल हार्ड डिस्क ड्राइव में अलग से USB पोर्ट दिया जाता है ताकि आप इसे स्मार्टफ़ोन के साथ, लैपटॉप के साथ बाहरी की तरफ ही एक ही तार की मदद से डाटा को ट्रान्सफर और सेव किया जा सकता है  क्योंकि इसे डिवाइस के अंदर नहीं लगाना पड़ता है सिर्फ एक ही सिंगल तार की मदद से ही काम हो जाता है  जबकि हार्ड डिस्क ड्राइव के बाहर की तरफ बहुत सी तारें निकलती हुई दिखाई देती है और उसे डिवाइस के अंदर ही लगाया जाता है  पोर्टेबल हार्ड डिस्क ड्राइव की कीमत थोड़ी सी हार्ड डिस्क ड्राइव से अधिक होती है 

2. SSHD :

सॉलिड स्टेट हाईब्रिड ड्राइव हार्ड डिस्क ड्राइव से थोड़ी सी फ़ास्ट होती है इसीलिए काम काफी जल्दी से हो जाता है  हार्ड डिस्क ड्राइव और सॉलिड स्टेट ड्राइव दोनों को मिलाकर ही इस सॉलिड स्टेट हाईब्रिड ड्राइव का निर्माण किया है जिसकी कीमत हार्ड डिस्क ड्राइव से थोड़ी सी अधिक तो है लेकिन सॉलिड स्टेट ड्राइव से कम  जबकि स्पीड अच्छी देखने को मिलती है 
  • पोर्टेबल SSHD :

पोर्टेबल सॉलिड स्टेट हाईब्रिड ड्राइव बिलकुल सॉलिड स्टेट ड्राइव की तरह होती है  जबकि इस स्टोरेज डिवाइस में भी अंतर सिर्फ तार का ही होता है जैसे की अलग से USB पोर्ट ही दिया जाता है जिसे आप कहीं भी लेकर जा सकते हैं और डिवाइस के साथ अंदर से नहीं बल्कि बाहर से ही कनेक्ट किया जा सकता है । पोर्टेबल सॉलिड स्टेट हाईब्रिड ड्राइव की कीमत भी थोड़ी सी अधिक ही होती है अगर इसकी तुलना सॉलिड स्टेट हाईब्रिड ड्राइव से करनी है तो 

3. SSD :

सॉलिड स्टेट ड्राइव को शोर्ट में SSD कहते हैं और यह अब तक की सबसे तेज़ स्टोरेज डिवाइस है क्योंकि इसकी डाटा ट्रान्सफर करने की स्पीड, डाटा को लोड यानि की खोलने की स्पीड, डाटा को write करने की स्पीड और डाटा रीड करने की स्पीड सबसे तेज़ है जिससे काम होने में समय अधिक नहीं काफी जल्दी से हो जाता है  परन्तु इस स्टोरेज डिवाइस की कीमत सबसे अधिक होती है जिसकी वजह से अधिकतर लोग इसे खरीदते नहीं है 
  • पोर्टेबल SSD :

पोर्टेबल सॉलिड स्टेट ड्राइव एकदम बेस्ट पोर्टेबल स्टोरेज डिवाइस कहलाती है क्योंकि ये स्टोरेज डिवाइस सबसे पतली और छोटी होती है इसीलिए  आज के समय में इसका एक प्रकार भी आ गया है जिसका आकार इतना छोटा है की जिसे पर्स में आसानी से भी रख सकते हैं और पेनड्राइव की तरफ दिखने वाली होती है पोर्टेबल सॉलिड स्टेट ड्राइव स्टोरेज डिवाइस का इस्तेमाल सबसे ज्यादा ही किया जाता है क्योंकि इसका साइज़ बहुत छोटा होता है जिससे आप आसानी से अपनी जेब में भी रख सकते हैं लेकिन कुछ सॉलिड स्टेट ड्राइव का साइज़ थोड़ा बड़ा भी हो सकता है और अंतर कीमत का ही होता है । पोर्टेबल हार्ड डिस्क ड्राइव को जेब में रखना बहुत मुश्किल होता है । लेकिन हार्ड डिस्क ड्राइव को आप बैग में रख सकते हैं क्योंकि इसका साइज़ पेंट की जेब से थोड़ा सा छोटा या पूरा-पूरा ही होता है ।

4. ROM :

ROM को ही कहा जाता है रैंडम एक्सेस मैमोरी । रैंडम एक्सेस मैमोरी डिवाइस के अंदर ही लगाया जाता है । स्मार्टफ़ोन, टेबलेट्स जैसे पतले डिवाइस में ROM का प्रयोग किया जाता है क्योंकि इसका आकार कम होने के बाद भी अधिक मात्रा में डाटा और फाइल्स सेव हो जाती है । ROM को अलग से खरीदा नहीं जाता है और ना ही ये अल्ग से बिकते हैं क्योंकि ये पहले से ही डिवाइस के अंदर लगाकर भेजे जाते हैं । जबकि हार्ड डिस्क ड्राइव, सॉलिड स्टेट हाईब्रिड ड्राइव और सॉलिड स्टेट ड्राइव जैस स्टोरेज डिवाइस अलग से बिकते हैं चाहे तो आप आपनी जरूरत के हिसाब से खरीद भी सकते हैं 

5. CD :

CD के बारे में आपको जरुर पता होगा जिसे कॉम्पैक्ट डिस्क ही कहा जाता है और इसे आप कहीं भी ले सकते हैं क्योंकि यह एक्सटर्नल स्टोरेज डिवाइस ही कहलाता है लेकिन यह ऑप्टिकल ड्राइव के अंदर लगाया जाता है डाटा को सेव और ट्रान्सफर करने के लिए और ऑप्टिकल ड्राइव कंप्यूटर या लैपटॉप के बाहरी हिस्से में ही लगा होता है । परन्तु आज के समय में CD का इस्तेमाल सबसे कम किया जाता है क्योंकि इसे सम्भालना काफी मुश्किल होता है जैसे की अधिक स्क्रैच लगने से CD के सही तरीके से या काम ना करने का डर और टूटने का खतरा इत्यादि । लेकिन इसमें सिर्फ ऑडियो या विडियो ही सेव करने का फीचर मिलता है इसके आलावा और कुछ भी नहीं । दूसरी तरफ स्टोरेज क्षमता तकरीबन 750MB तक की ही मिलती है जोकि काफी कम है 

6. DVD :

DVD को डिजिटल वर्साटाइल ड्राइव या फिर डिजिटल विडियो ड्राइव भी कहते हैं । DVD काफी बेस्ट है अगर इसकी तुलना CD से करनी है तो । क्योंकि इसमें स्टोरेज क्षमता काफी अधिक जैसे की 10GB से भी ऊपर तक की मिल जाती है जोकि काफी अच्छी बात है । लेकिन इसमें भी ऑडियो और विडियो जैसे डाटा को ही सेव किया जा सकता है इसके आलावा और कुछ भी नहीं 

7. SD कार्ड :

SD कार्ड एकदम बेस्ट कार्ड है जिसका सबसे बड़ा कारण है की सबसे छोटा होने के बावजूद अधिक डाटा को सेव करने में सक्षम होना । लेकिन आकार में काफी छोटा और पतला होने से घुमने का डर सबसे अधिक होता है । इसे किसी भी डिवाइस के बाहर OTG केबल और कार्ड रीडर के जरिये लगा सकते हैं जबकि बिना OTG केबल के और बिना कार्ड रीडर के लगाने के लिए इसे स्मार्टफ़ोन जैस पतले डिवाइस के अंदर लगाया जाता है और सिम कार्ड के खाने के साथ SD कार्ड का अलग से छोटा सा खाना बना होता है 

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